
बीसलपुर बांध से गुरुवार की तरह शुक्रवार को भी 1 मीटर खोलकर प्रति सेकंड 6010 पानी के निकासी की जा रही है ।
बीसलपुर बांध के गेट नंबर दस से दूसरे दिन शुक्रवार भी पानी की निकासी जारी है। गुरुवार की तरह आज भी इस गेट को एक मीटर खोलकर प्रति सेकंड 6010 क्यूसेक पानी बनास नदी में छोड़ा जा रहा है। इसी के साथ बांध के निचले हिस्से में बनास नदी में भी जल स्तर बढ़ गया है
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उधर जिले में बारिश मा दौर तीन चार दिन से थम सा रहा है बीते 24 घंटे में तो कई भी बारिश नहीं हुई है। इसके चलते तापमान भी दिनों दिन बढ़ रहा है। इससे लोगों को एक बार फिर गर्मी और उमस से।परेशान होना पड रहा है। शुक्रवार को अधिकतम तापमान बीते 24 घंटे में तीन डिग्री बढ़कर 34 डिग्री रहने के आसार है। जबकि न्यूनतम तापमान 27 रहा हैं। इससे पहले गुरुवार को अधिकतम तापमान 31 डिग्री सेल्सियस था और न्यूनतम तापमान 24 डिग्री सेल्सियस था। 24 घंटे में ही गर्मी का असर बढ़ने से लोगों को गर्मी और उमस से और ज्यादा परेशान होना पड रहा है।
ज्ञात रहे कि गुरुवार शाम 4.55 बजे बीसलपुर
8वीं बार गेट खोले गए है। अभी बांध के फुल भराव क्षमता 315.50 आर एल मीटर को मेंटेन कर बढ़े हुए पानी को बांध के गेट नंबर दस को एक मीटर खोलकर प्रति सेकंड 6010 क्यूसेक पानी की निकासी बनास नदी में की जा रही है। बीसलपुर बांध परियोजना के XEN मनीष बंसल ने बताया पानी की आवक के हिसाब से पानी निकासी को कम या ज्यादा किया जा सकता है।
22 साल में 8वीं बार खुलेंगे गेट
अजमेर संभाग का सबसे बड़ा बीसलपुर बांध की कुल पानी की भराव क्षमता 38.708 टीएमसी (315.50 आरएल मीटर) है। इस बांध का निर्माण होने के बाद इसमें पहली बार 2004 में पानी रोका गया था और पहली बार में ही पूरा भरकर छलक गया था। उसके बाद 2006, 2014, 2016, 2019, 2020, 2022, 2024 और 2025 में यह पूरा भरकर छलका था। गुरुवार को 8वीं बार आज इसके खोले जाएंगे।
जिले में शुक्रवार को हल्के बादल छाये हुए है। धूप भी निकली हुई है।
बांध का कितना पानी किसके लिए आरक्षित
बीसलपुर बांध प्रोजेक्ट के XEN मनीष बंसल ने बताया कि टोंक जिले में सिंचाई के लिए 8 टीएमसी पानी, पेयजल के लिए 16.2 टीएमसी पानी आरक्षित है। इसके अलावा 8.15 टीएमसी वाष्पीकरण व अन्य खर्च माना गया है।
पेयजल के लिए 1000 एमएलडी तक खपत होता है
टोंक, अजमेर, जयपुर जिलों में पेयजल के लिए रोजाना करीब साढ़े नौ से एक हजार एमएलडी पानी इस बांध से जाता है। इससे तीनों जिलों के क ल्रीब दो हजार शहर, गांवों की करीब एक करोड़ से ज्यादा आबादी को पेयजल उपलब्ध कराया जा रहा है।
बांध की भौगोलिक स्थिति
बीसलपुर बांध के 18 गेट हैं जो 15 गुणा 14 मीटर की साइज के हैं। बांध की लंबाई 576 मीटर व समुद्र तल से ऊंचाई 322.50 मीटर है। बांध की कुल जल भराव में 68 गांव डूब चुके हैं। इसमें 25 गांव पूर्ण रूप से व 43 गांव आंशिक रूप से डूब क्षेत्र में आते हैं। बांध का जलभराव क्षेत्र 25 किलोमीटर है जिसमें कुल 21 हजार 30 हेक्टेयर भूमि जलमग्न होती है।
82 हजार हेक्टेयर में होती बांध की नहरों से सिंचाई
बीसलपुर बांध के निर्माण के साथ ही इसके नहरी तंत्र का निर्माण भी 2004 में पूरा हुआ था। टोंक जिले में सिंचाई के लिए बांध की दायीं व बायीं दो मुख्य नहरें हैं। दायीं नहर की कुल लंबाई 51 किलोमीटर व बायीं की लंबाई 18.65 किलोमीटर है। जिनसे जिले की 81 हजार 800 हेक्टेयर भूमि सिंचित होती है। दायीं मुख्य नहर से 69 हजार 393 हेक्टेयर व बायीं से 12 हजार 407 हेक्टेयर भूमि पर सिंचाई कार्य होता है। बांध से अब तक 2004, 2005, 2006, 2007, 2011 से 2017, 2019, 2022, 2023 और 2024 में सिंचाई के लिए पानी छोड़ा जा चुका है।